2 August, 2024

सावन शिवरात्रि पर जलाभिषेक लिए मिलेंगे सिर्फ 42 मिनट, ये है सही समय

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शिवरात्रि पर शिवलिंग का अभिषेक करने के लिए सबसे पहले गंगाजल से भगवान शिव का अभिषेक करें. भोलेनाथ की पूजा अर्चना करने के लिए भक्तों को 42 मिनट का शुभ समय मिलेगा.

ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, सावन शिवरात्रि के दिन निशिता काल में भोलेनाथ की पूजा का शुभ समय देर रात 12 बजकर 6 मिनट से लेकर रात के 12 बजकर 48 मिनट तक रहेगा.

शिवरात्रि पर भगवान शिव की पूजा अर्चना निशिता काल में करना सबसे शुभ और उत्तम माना जाता है. निशिता काल के दौरान पूजा अर्चना करने से सभी मनोकामनाएं पूर्ण होती हैं.

आप अपनी इच्छा के अनुसार, पीतल के लोटे में दूध, दही, शहद, गंगाजल और जल मिलकर पंचामृत बना सकते हैं और इस पंचामृत से भगवान शिव का अभिषेक कर सकते हैं.

अभिषेक करने के दौरान ॐ नमः शिवाय मंत्र या महामृत्युंजय मंत्र का जाप करें. शिवलिंग का अभिषेक करने के बाद शिवलिंग पर भांग, धतूरा, बेलपत्र, शमी के पत्ते, पुष्प और फल आदि अर्पित करें. 

अब भगवान शिव के सामने धूप और दीपक जलाएं. इस दौरान भी मंत्र जाप या शिव चालीसा का पाठ करना चाहिए. पूजा का समापन भोलेनाथ की आरती के साथ करें.

सावन शिवरात्रि के व्रत का पारण शिवरात्रि के अगले दिन 3 अगस्त 2024 को किया जाएगा. व्रत का पारण करने का शुभ मुहूर्त सुबह 5 बजकर 43 मिनट से लेकर दोपहर के 3 बजकर 48 मिनट तक रहेगा.

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